Antarvasna

बच्चे की चाह में चुद गई मोटे लंड से – Antarvasna

Antarvasna: दोस्तो, मैं जीत एक बार फिर से आप सबके सामने लेकर आया हूं अपनी एक और कहानी|उस कहानी में मैंने आपको बताया था कि मैंने कैसे उन दोनों कॉल गर्ल की चुदाई की थी|

मिकी की चूत रात भर चोदने के बाद मैं सुबह अनीता को उसी के कमरे में बजा रहा था तो उस वक्त एक गुजराती भाभी उस कॉल गर्ल की लाइव चुदाई देख रही थी|जब मैं अपने कपड़े पहनकर जाने लगा तो भाभी ने मुझे दरवाज़े पर रोक लिया |

बोली,कभी पड़ोसियों का भी ख्याल कर लिया करो?बस, मुझे तभी पता लग गया था कि प्यासी भाभी की गोरी चुत मेरा लंड लेना चाहती है| मैंने भी उनसे कह दिया,जब आप कहो, बंदा सेवा में हाज़िर है|

दोस्तो, गुजराती भाभी भी अपने आप में कम नहीं थी| वो 26 साल की एक गदराये जिस्म की महिला था जिसकी मस्तानी चाल देख कर अच्छे अच्छे चोदू मर्दों का लंड गीला हो जाये| हाइट 5|2 फीट थी| उसका फीगर 34-30-36 का था|

 बच्चे की चाह में चुद गई मोटे लंड से - Antarvasna

गांड इतनी मस्त कि देखते ही चोदने का मन करे|गुजराती भाभी से बात करने के बाद मैं नीचे अपने रूम में आ गया| मैंने नहा धोकर नाश्ता किया और फिर सो गया|उसके बाद मैं दोपहर के 1 बजे के करीब उठा और मैंने अपने रूम की साफ सफाई की|

फिर मैं आराम से बेड पर लेट गया| मेरे मन में गुजराती भाभी की सुबह वाली बात घूम रही थी|उसके ब्लाउज में उसकी चूचियों की घाटी जो मैंने सुबह देखी थी, उसी के बारे में सोच कर मेरे लंड ने करवट ले ली| मेरे हाथ को लंड पर पहुंचते देर न लगी |

मैं भाभी की चूचियों के बारे में सोच कर अपने लंड को सहलाने लगा|धीरे धीरे मैं ख्यालों में ही भाभी के कपड़े उतारने लगा| एक एक कपड़ा उतार कर मैंने भाभी को नंगी कर दिया| फिर मैं ख्यालों में ही भाभी को किस करने लगा |

उनको प्यार करने लगा| जैसे जैसे भाभी के जिस्म को कल्पना में मैं ऊपर से नीचे तक चूमता जा रहा था वैसे ही मेरे लंड में कसाव और ज्यादा तेज हो रहा था|कुछ ही पलों में मेरा हाथ मेरे लंड पर तेजी से चलने लगा था|

अभी तक मैं अंडरवियर में हाथ देकर ही लंड की मुठ मार रहा था लेकिन अब मुझे लंड को खुले में आजाद करके मुठ मारने का मन कर रहा था| मैंने अपने अंडरवियर को निकाल दिया |

आंख बंद करके जोर जोर से भाभी की चूचियों को ख्यालों में चूसने और पीने लगा|भाभी की काल्पनिक सिसकारियों को सुन कर मेरे मुंह से ही सिसकारियां निकलने लगी थीं| मैं तेजी से मुठ मारता हुआ प्यासी भाभी की गोरी चुत पर पहुंचा |

उसकी चूत को जोर जोर से चाटने और काटने लगा| भाभी की पहाड़नुमा चूचियों पर तने हुए निप्पलों को सोच कर मेरे लंड में वासना का तूफान उठ गया|

अब मैं स्खलित होने से पहले प्यासी भाभी की गोरी चुत में लंड डालने का भी काल्पनिक आनंद लेना चाहता था| मैंने भाभी की टांगों को चौड़ी कर लिया था और उनकी चूत पर लंड रखा ही था कि मेरे फोन की घंटी बज पड़ी|

सारी उत्तेजना की मां चुद गयी|मैंने फोन उठाकर देखा तो अमित (मेरा रूम पार्टनर) का कॉल था| अमित कहने लगा कि उसको ऑफिस से कॉल आया है| 15 दिन के लिए उसको बाहर जाना होगा राँची|

उसने मुझसे कहा कि मैं उसके कपड़े वगैरह पैक करवाकर सीधा ऑफिस में पहुंचा दूं| उसको सीधे ऑफिस से ही निकलना था|अगले दिन उसको सांय की ट्रेन से जाना था| मैंने उसके कपड़े वगैरह पैक करवा दिये|

फिर मैं सांय को छत पर यानि कि सबसे ऊपर वाले फ्लोर पर चला गया| मैं गया तो गुजराती भाईसाहब से बात करने के लिए था लेकिन मेरा मकसद भाभी की चूत का जुगाड़ करने का था|उस वक्त भाईसाहब मार्केट में सब्जी वगैरह लेने के लिए गये हुए थे|

भाभी से मेरी ज्यादा बात नहीं हुई थी| फिर मैंने भाभी से सुबह वाली बात का जिक्र किया|मैंने पूछा,भाभी, सुबह की घटना के बारे में आपको पता कैसे चला?वो बोली,मैं तो छत पर कपड़े सुखाने के लिए जा रही थी|

तुम्हारे भाईसाहब ने रात में पीने के बाद उल्टियां कर दी थीं| उनके कपड़े खराब हो गये थे| वही धोकर सुखाने जा रही थी किअनीता के रूम से आवाज़ें सुनाई दीं| उसकी चिल्लाने की आवाज़ें और वो सिसकारियां बाहर तक आ रही थीं|

मैं समझ गयी कि तुम्हारे सिवा इतनी सुबह कोई और हो ही नहीं सकता है| अमित के सिवा इस बिल्डिंग में से यहां ऊपर वाले फ्लोर पर कोई आता नहीं है| अमित के बाद तुम ही हो सकते थे|

फिर मैं दरवाजे पर खड़ी होकर देखने लगी तो तुम्हारा लंडअनीता की चूत में था| पहली बार मैंने किसी जवान लड़के को इतनी मस्त चुदाई करते हुए देखा था| इसलिए मैं तो वहीं पर खड़ी होकर उस नज़ारे का मज़ा लेने लगी|

मैं बोला,तो भाभी, मैंने कुछ गलत तो नहीं किया, मैं तो अपने पड़ोसियों का ख्याल ही रख रहा था|वो बोली,बिल्कुल गलत नहीं था| तभी तो कह रही हूं| दूसरे पड़ोसी भी तो हैं!भाभी ने मेरी जांघ पर हाथ फेरते हुए कहा|

उसी वक्त मैंने भाभी का हाथ पकड़ लिया| अगर मैं नहीं पकड़ता तो भाभी शायद मेरे लंड को ही सहला देती| उस वक्त हम लोग बाहर ही थे| वहां से कोई भी देख सकता था|मैं बोला,भाभी, मैं आपके मन की बात समझ रहा हूं मगर भाईसाहब भी तो हैं

आपका ख्याल रखने के लिए| वो तो आपका पूरा ख्याल रखते हैं| हां मैं मानता हूं कि वो दारू पीते हैं लेकिन कभी आपसे लड़ाई भी तो नहीं करते।वो बोली,हां, वो हैं और लड़ाई भी नहीं करते| मगर जब से उन्होंने दारू पीना शुरू किया है|

तब से हमारी सेक्स लाइफ में कुछ मज़ा नहीं रहा| 2 साल तक शुरू में वो बहुत मज़ा देते थे| उनका 5 इंच का है और मैं उसी में खुश भी थी| फिर धीरे धीरे उन्होंने दारू पीना शुरू किया और वो रात में भी देर से आने लगे|

ऐसे ही कई कई रात तक वो सेक्स किये बिना रहने लगे| मैं अकेली अपनी प्यास के साथ बेड पर करवटें बदलती रहती| फिर धीरे धीरे उनकी टाइमिंग भी कम होना शुरू हो गयी|शादी को चार साल हो चुके हैं| मैं अब बच्चा चाहती थी|

मैंने इनको रिझाना शुरू किया| मगर वो ज्यादा देर टिक नहीं पाते थे| किसी तरह दो महीने मैं लगातार चुदी लेकिन कोई रिजल्ट नहीं निकला| मैंने अपने सारे टेस्ट करवाये| सब कुछ सही था|फिर मैं बड़ी मुश्किल से इनको भी डॉक्टर के पास लेकर गयी|

बच्चे की चाह में चुद गई मोटे लंड से - Antarvasna

डॉक्टर ने टेस्ट किये और कहा कि इनका स्पर्म काउंट बहुत कम है| इनको खाने के लिए दवाईयां दे दी गयीं और दारू पीना मना कर दिया गया|अब सास ससुर को ये बात पता चली तो उन्होंने कहा कि यहां इसके दोस्त इसको नहीं सुधरने देंगे|

तुम इसको लेकर दिल्ली चली जाओ| वहां पर इसके अंकल हैं, वो जॉब भी दिला देंगे और तुम्हारे रहने की व्यवस्था भी हो जायेगी|उसके बाद हम लोग दिल्ली आ गये| यहां आने के बाद इन्होंने 2 महीने तक सारे परहेज़ किये|

मगर उसके बाद फिर से पीने की आदत लगा ली| रोज़ रात को पी लेते हैं और सेक्स नहीं कर पाते हैं|मेरे सास ससुर का मेरे पास रोज़ फोन आता है और वो खुशखबरी के लिए पूछते हैं| मैं उनको कुछ नहीं कह पाती|

7 महीने से बस बातें बना रही हूं| मैं थक गयी हूं और मर्द के प्यार के लिए बहुत प्यासी हूं| इसलिए अब तुमसे उम्मीद लगाई है|भाभी की बातें सुनकर मुझे उनकी बेबसी पर बहुत तरस आया|

मैंने उनको अपने पास खींचा और उनको बांहों में लेकर उनके होंठों को चूम लिया और बोला,अब आपको सेक्स के लिए तड़पना नहीं पड़ेगा|वो एकदम से पीछे हटकर बोली,क्या कर रहे हो! तुम्हारे भाईसाहब देख लेंगे|

मुझे सेक्स के साथ कुछ और भी चाहिए|मैं बोला,और क्या चाहिए?वो बोली,बच्चा।मैंने कहा,ठीक है| बच्चा भी कर दूंगा| मगर आपको मेरा एक काम करना होगा|वो बोली,क्या काम?भाभी का हाथ पकड़ कर मैंने कहा,मैं आपकी गांड भी चोदूंगा |

आपको बगल वाली लड़कियों की चूत भी दिलवानी होगी| या तो फ्री में दिलवा देना और अगर पैसे मांगे तो पैसे भी आप ही देंगीं|गुजराती भाभी बोली,ठीक है| पहले तुम मेरा काम करो| मैं लड़कियों की चूत भी दिलवा दूंगी|

उस दिन फिर मैंने भाभी का नम्बर लिया और मैं उनके रूम से बाहर आ गया| अब मैं भाईसाहब के पास चला जाता और उनसे कहता कि दारू कम पिया करो|ऐसे ही 4-5 दिन निकल गये| अगले दिन फिर भाईसाहब बोले कि उनके अंकल बीमार हैं|

अस्पताल में भर्ती हैं| उनको अंकल के साथ अस्पताल में ही रहना पड़ेगा| भाभी कोई सामान मंगाये तो लाकर दे देना|
मैं बोला,जी भाईसाहब, आप फिक्र न करें| भाभी का तो मैं पूरा ख्याल रखूंगा|

अगले दिन सांय को मैं ऑफिस से वापस अपने रूम पर आया| मैंने भाभी को फोन किया और पूछा कि अगर किसी चीज़ की ज़रूरत है तो बता दो|गुजराती भाभी बोली,आज रात को मुझे तुम्हारी ज़रूरत है| 9 बजे के बाद तुम्हारा इंतजार करूंगी|

भाभी की बात सुनकर मेरे लंड में हलचल होने लगी और मैं जल्दी जल्दी काम निपटाने लगा और फिर 9 बजे सब काम खत्म करके भाभी के पास पहुंच गया| उस दिन शनिवार था|अनीता और मिकी भी अपने (कॉल गर्ल वाले) काम पर गयी हुई थीं

इसलिए किसी का डर भी नहीं था|मैंने दरवाजा खटखटाया तो भाभी ने खोला| मैंने देखा कि उसने लाल रंग की साड़ी पहन रखी थी| उसके बाल गीले थे, लाल होंठ गुलाब की भीगी पंखुड़ियों जैसे लग रहे थे| शायद अभी नहाकर तैयार हुई थी|

दरवाजे पर खड़े खड़े मैंने कहा,भाभी, बड़ी सेक्सी दिख रही हो, एकदम दुल्हन की तरह!वो बोली,सुहागरात जो है हमारी, सजना तो था ही।अंदर होकर फिर मैंने भाभी को कमर से पकड़ कर अपनी तरफ खींचा और उनके होंठों से होंठ मिला दिए|

भाभी खेली खाई थी इसलिए पूरा चुंबन ले रही थी| हम 15 मिनट तक लिप लॉक करके किस करते रहे| फिर मैंने भाभी की साड़ी का पल्लू पकड़ा और उतारने लगा|भाभी बोली,मेरे राजा, मैं खुद ही उतार देती हूं|

उसने फिर धीरे-धीरे करके सब कपड़े उतार दिए| मैंने भी देर नहीं की और मैंने भी सब कपड़े उतार दिए| अब हम दोनों नंगे थे| मैंने भाभी के गोल-गोल, मोटे-मोटे स्तनों को पकड़ा और दबाने लगा|

वो भी मेरे सिर को अपनी चूचियों में दबाने लगी| मैंने तुरंत भाभी के निप्पलों को बारी बारी से चूसना शुरू कर दिया| भाभी ने एक हाथ से मेरा लंड पकड़ लिया और उसको दबा दबा कर पूरे लंड पर हाथ फेरते हुए जैसे उसकी लम्बाई मापने लगी|

उसने मेरे लंड को सहला सहला कर लोहे जैसा सख्त कर दिया और मेरा लौड़ा अब उस सेक्सी भाभी की चूत चुदाई करने के लिए पूरी तरह से तैयार था| वो भी अपनी चुदासी चूत में मेरा लंड लेने के लिए उतनी ही बेकरार लग रही थी|

बच्चे की चाह में चुद गई मोटे लंड से - Antarvasna

भाभी के अंदर की गर्मी बाहर निकलने लगी और बोली,मेरी जान … पहले मेरी चूत की प्यास बुझा दो एक बार … फिर पूरी रात प्यार करते रहना।मैंने भी देर न करते हुए उनको बेड पर लेटा लिया और गांड के नीचे तकिये लगा दिए|

उनकी चूत उठकर ऊपर आ गयी| उन्होंने अपनी टांगें फैला लीं| मैंने लंड को पहले भाभी की तपती हुई चूत पर रगड़ा, फिर धीरे से आधा लंड प्यासी भाभी की गोरी चुत में सरका दिया जो बड़े ही आराम से अंदर चला गया|

मुझे मज़ा नहीं आया इसलिए मैंने एक ज़ोर का झटका मारा तो भाभी एकदम सिहर उठी और आंसू भी आ गए| भाभी कराहते हुए बोली,आह … मार दिया कमीने!भाभी के मुंह दर्द भरी आवाज़ सुनकर अब मुझे कुछ अच्छा लगा|

मैंने पूछा,भाभी आपकी तो इतनी टाइट भी नहीं है, फिर इतना दर्द कैसे?वो बोली,तुम्हारा लंड तुम्हारे भाईसाहब से लम्बा भी है और मोटा भी| तुमने वहां पर ठोका है जहां पर मेरे पति का लंड आज तक पहुंचा ही नहीं था|

मुझे सुनकर अच्छा लगा| मैंने धीरे-धीरे भाभी को पेलना शुरू किया| पेलते हुए उनके चूचों को दबाने लगा| भाभी ने अपनी टांगें उपर उठा लीं| मैंने उनकी टांगों को कन्धों पर लिया और तेजी से पेलने लगा|

भाभी को मज़ा आने लगा और वो ज़ोर ज़ोर से सिसकारने लगी,आह्ह … जीत … चोद … आह्ह … चोद मेरे राजा … अपने दमदार लंड का दम दिखा दे … मेरी चूत की प्यास बुझा दे … आह्ह … चोद मुझे … चोद चोदकर |

मुझे फिर से हरी कर दे मेरी जान … मुझे तेरे बच्चे की मां बना दे … आह्ह … मैं तेरे लंड की पूजा करूंगी।ये कहकर भाभी गांड उठा उठाकर चुदने लगी और कुछ देर में ही झड़ गयी| कमरे में फिच-फिच … फच-फच … करके आवाजें होने लगीं|

उसके झड़ने के बाद मैंने करीब 10 मिनट तक उसको जोर से चोदा| चुदते हुए वो फिर से गर्म हो गयी थी और अपनी गाडं उठा उठाकर पिलवा रही थी|वो बोली,मैं फिर से आने वाली हूं|मैंने कहा,मैं भी भाभी|

उसके बाद मैं पूरी ताकत लगाकर भाभी की चूत चोदने लगा| उसके बाद 10-15 धक्के लगाये होंगे कि मेरे लंड से मेरा माल निकल कर भाभी की चूत में भरने लगा| भाभी भी उसी वक्त झड़ गयी|

वीर्यपात के 10 मिनट बाद तक मैं ऐसे ही भाभी के ऊपर लेटा रहा| फिर मेरा मूसल लंड ढ़ीला होकर बाहर आ गया और मैं भाभी से अलग हुआ| मगर भाभी ने अपनी टाँगें उपर ही रखीं|

मैंने कारण पूछा तो वो बोली,सीधी टांगें करने से वीर्य बाहर निकलने लगता है और मेरी डेट्स को 10 दिन से ज्यादा हो चुके हैं| अभी के 6-7 दिन तक गर्भवती होने के चांस ज्यादा हैं तो मैं मौका खोना नहीं चाहती|

मुझे इसके बारे में नहीं पता था और मैं बोला,मुझे ये सब जानकारी नहीं है भाभी|वो बोली,कोई बात नहीं, शादी के बाद तुम्हारी बीवी सब जानकारी तुम्हें दे देगी| अभी के लिए मैं ये ज्ञान तुम्हें दे रही हूं|

उसके बाद मैं बाथरूम में गया और अपने लंड को साफ करके आ गया| मैंने फिर से भाभी को लंड चूसने के लिए कहा| वो भी जैसे तैयार ही बैठी थी| तुरंत उठी और मेरे सोये हुए लंड को मुंह में लेकर जीभ फेरने लगी|

लंड में गुदगुदी हो रही थी लेकिन मज़ा भी बहुत आ रहा था|अपना कमाल दिखाते हुए भाभी ने पांच मिनट में ही मेरे लौड़े में तनाव पैदा कर दिया| मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया| वो मेरे लंड को लॉलीपॉप की तरह चूसने लगी|

मैं बोला,भाभी, लगता है भाईसाहब ने आपको मज़े तो खूब दिये हैं|वो बोली,हां, 2 साल तक तो हमने हर पोज में चुदाई की है|मैंने भाभी से उनकी सेक्सी गांड का राज़ पूछा तो वो बोली,इसको भी वो बहुत पेलते थे|

अभी भी करते हैं लेकिन अब उनके लंड में उतना तनाव पैदा नहीं हो पाता है| मगर ये चोद चोदकर उन्होंने ही इतनी मोटी कर रखी है|अब मेरा लौड़ा पूरी तरह से तैयार था और मैंने भाभी को डॉगी स्टाईल में कर लिया|

पीछे से मैंने उनकी चूत में लंड को पेल दिया| मगर भाभी की गांड मुझे अपनी ओर खींच रही थी| इसलिए थोड़ी देर चूत चोदने के बाद ही मैंने लंड को बाहर निकाल लिया|

भाभी पीछे मुड़कर देखने लगी तो मैंने लंड को उनकी गांड के छेद पर छुआ दिया और आंख मार दी| वो भी समझ गयी कि मैं गांड में देना चाहता हूं| फिर मैंने उनके गुदा द्वार पर लंड को रखा और एक धक्का दे दिया|

मेरे लंड का टोपा भाभी की गांड में घुस गया और भाभी आ … आ … आ … करके आगे छूटकर भागने की कोशिश करने लगी| मैंने उनको और ज्यादा कसकर पकड़ लिया| एक धक्का फिर से मारा और आंधा लंड भाभी की मोटी गांड में घुसा दिया|

भाभी चिल्लाई,मारेगा क्या हरामी?मैं,हां भाभी, बहुत जोर से!वो बोली,मज़ाक मत कर, मुझे दर्द हो रहा है|मैंने बोला,मज़ा भी उतना ही आयेगा| बस दो मिनट रुक मेरी जान!मैं वहीं रुक गया और थोड़ी देर बाद धीरे-धीरे लिंग को आगे पीछे करने लगा

पूरा लिंग उनकी गुदा में पेल दिया|5 मिनट हुई होंगी कि भाभी बोली,मेरे हाथ दर्द करने लगे हैं|तो फिर मैंने लंड बाहर निकाला और बेड पर लेट गया और उनको मेरे ऊपर आने को कहा| भाभी मेरे ऊपर आ गयी |

उसने गुदा पर लिंग सेट किया और अंदर लेकर कूदना शुरू कर दिया|वो अपनी गांड में घुमा घुमाकर मेरे लंड को अंदर ले रही थी| मैं समझ गया कि भाभी इसमें एक्सपर्ट है| मैं भी नीचे से गांड को ठोकने लगा| वो मादक सिसकारियां लेते हुए |

अपनी गांड चुदवाने लगी| कुछ ही देर में वो कूद कूदकर थकने लगी और मैं भी स्खलन के करीब पहुंच गया था|7-8 मिनट की गांड चुदाई के बाद मैंने सारा माल उनकी गुदा में डाल दिया| वो मेरे ऊपर ही लेट गयी |

मैंने उनको अपने सीने से चिपका लिया| हमारा ये मिलन सुबह तक चलता रहा| अलग अलग तरीके से मैंने भाभी के साथ सेक्स किया|भाभी के कहने पर मैंने 6 दिन की छुट्टी ले ली और दिन में जब कोई नहीं होता था तो भाभी को मैं खूब चोदता|

उनको बोलता रहा कि रात में भाईसाहब से चुदवाती रहना ताकि बच्चा होने पर उनको शक न हो| वो भी कह देती थी कि उसकी चिंता न करो|साथ ही मैं भाभी को उनका किया वादा भी याद दिलाता रहता था|

इस तरह उन सात दिनों में मैंने भाभी को खूब पेला| उसकी चूत भी जमकर बजाई और गांड चुदाई भी मज़े लेकर की| भाभी को मैंने इतना चोदा कि उनको अगली डेट नहीं आई|गुजराती भाभी की चुदाई करके मैंने उनको गर्भवती कर दिया था|

भाईसाहब भी खुश हो गये| उन्होंने बिल्डिंग में सबको मिठाई भी बांटी| फिर मौका पाकर मैंने भाभी से कहा,लड़कियों की चुदाई वाली बात का क्या हुआ?भाभी बोली,मैंने उनसे बात कर ली है| वो तुमसे पैसे नहीं लेंगी|

माल की गोरी चिट्टी चुत का भोसड़ा बनाया – Antarvasna

बच्चे की चाह में चुद गई मोटे लंड से - Antarvasna

मगर एक बात है कि तुम सोमवार से शुक्रवार के बीच ही करना|मैं भी झट तैयार हो गया| मुझे तो फ्री में चूत मिल रही थी| ये सिलसिला 3 महीने तक चला| फिर रेश्मा और मिकी किसी के साथ लिव-इन में रहने लगीं|

सानू ने फिर दूसरा रूम ले लिया| उसके बाद अमित की शादी हो गयी| वो भी अपनी बीवी के साथ रहने लगा| गुजराती भाभी को बच्चा होने वाला था तो उसने अपनी ननद सोनिया को काम में उनकी मदद के लिए बुला लिया|

अब मेरी नज़र सोनिया पर थी क्योंकि बिल्डिंग में उसके अलावा अब कोई और चूत मुझे नज़र नहीं आ रही थी| इतने दिनों से मैंने अपने शेर लंड को इतनी चूतों का रस पिलाया था, इसलिए अब उसको बिना चूत के मुंह लगे चैन नहीं आने वाला था|

अगली कहानी में मैं बताऊंगा कि कैसे मैंने गुजराती भाभी की ननद सोनिया को पटाया और उसकी चुदाई की| भाभी ने भी इस काम में कैसे मेरी हेल्प की, सब बताऊंगा|

इस कहानी पर मुझे अपने सुझावे दें और बतायें कि आपको कहानी कैसी लगी| अगर कोई गलती हो गयी हो तो माफ करें| मेरी प्यासी भाभी की गोरी चुत की कहानी के बारे में विस्तार से बात करने के लिए नि:संकोच मुझे मेल करें|

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